पहली बार माँ बनने वाली कई महिलाओं में डिलीवरी के बाद भी कुछ दिनों तक ब्रेस्ट मिल्क नहीं बन पाता है, जिसकी वजह से कई महिलाएं चाहकर भी अपने बच्चे को ब्रेस्ट फीडिंग नहीं करा पाती है। हालांकि ये प्रॉब्लम सभी महिलाओं के साथ नहीं होता है, लेकिन डिलीवरी के बाद लैक्टेशन में देरी की प्रॉब्लम लगभग 100 में से 25 महिलाओं के साथ देखा गया है। अधिकतर नई माँ के ब्रेस्ट मिल्क को नार्मल तरीके से आने में दो से चार दिन तक के टाइम भी लग जाते है, जबकि कुछ महिलाओं में लैक्टेशन प्रोसेस को कम्पलीट होने में इससे भी ज्यादा दिन लग जाते है, जो बच्चे और माँ दोनों के हेल्थ के लिए अच्छा नहीं होता है। आज के कुछ सीखें आर्टिकल में हम डिलीवरी के बाद ब्रैस्टमिल्क क्यों नहीं आते है? इससे रिलेटेड सारी जानकारी आपके लिए लेकर आये है।

ब्रैस्टमिल्क कब बनता है?

पहली प्रेगनेंसी के टाइम में महिलाओं में ब्रेस्टमिल्क 16 से 22 वीक यानि चौथे या पांचवे महीने के दौरान बनना शुरू हो जाता है। हालांकि दूसरी या तीसरी प्रेगनेंसी के दौरान ये ब्रेस्टमिल्क ज्यादातर फर्स्ट ट्राइमेस्टर के लास्ट से ही बनना शुरू हो जाता है। हालांकि हर महिला में ये टाइम अलग-अलग हो सकता है। 

डिलीवरी होने के कितने समय बाद ब्रैस्टमिल्क निकलता है?

जैसा कि हमने आपको पहले भी बताया है कि पहली बार माँ बनने वाली महिलाओं के ब्रेस्ट से डिलीवरी के बाद ब्रेस्टमिल्क दो से चार दिन बाद आना शुरू हो जाता है, जबकि पहले भी माँ बन चुकी महिलाओं में बेबी के जन्म के साथ ही ब्रेस्टमिल्क ब्रेस्ट से बाहर आने लगते है। स्टार्टिंग में महिलाओं के ब्रेस्ट से बहुत कम मात्रा में गाढ़ा और मलाईदार मिल्क निकलता है, लेकिन धीरे-धीरे ज़ब बेबी माँ के निप्पल को अच्छे से चूसना शुरू कर दे, तो लगभग 10 से 15 दिन बाद ब्रैस्टमिल्क का सामान्य तौर से निकलने लगता है।

डिलीवरी के बाद ब्रैस्टमिल्क नहीं आने के कारण क्या है?

बच्चे के जन्म के बाद नेचुरल ब्रेस्टफीडिंग ही उनके लिए सबसे हेल्दी होता है, लेकिन कई कारणों की वजह से हर महिला का शरीर डिलीवरी के बाद पर्याप्त मात्रा में ब्रेस्टमिल्क को नहीं बना पाता है। आइये अब उन कारणों को समझते है, जिसकी वजह से डिलीवरी के बाद ब्रैस्टमिल्क कम या कभी-कभी नहीं भी आते है: 

  1. हार्मोन चेंज – प्रोलैक्टिन हार्मोन, महिलाओं के बॉडी को ब्रेस्ट मिल्क जनरेट करने के लिए तैयार करता है, जो पूरी प्रेगनेंसी में बढ़ता ही जाता है। दूसरी तरफ प्लेसेंटा के कारण बनने वाले प्रोजेस्टेरोन हार्मोन की वजह से प्रोलैक्टिन हार्मोन ठीक से काम नहीं पाते, जिससे मिल्क का प्रोडक्शन सही से नहीं हो पाता है। डिलीवरी के बाद यदि प्लेसेंटा का कुछ भाग भी महिलाओं के बॉडी में रह जाते है, तो प्रोजेस्टेरोन हार्मोन कंटिन्यू बनते रहते है, जो ब्रेस्टमिल्क को बनने से रोकते है। प्लेसेंटा के पुरे पार्ट का बॉडी से बाहर आने के बाद ही प्रोलैक्टिन हार्मोन ब्रेस्टमिल्क को अच्छे से बना पाते है।
  2. ग्रेड्यूलर टिश्यू – ग्रेड्यूलर टिश्यू का मतलब होता है दूध नालिका का ठीक से नहीं बन पाना, जिसकी वजह से ब्रेस्ट से मिल्क को बाहर आने में मुश्किल होता है। अधिकतर पहली बार माँ बनने वाली महिलाओं में ये प्रॉब्लम होता है, हालांकि सेकंड और थर्ड प्रेगनेंसी में ऐसा नहीं होता है, क्योंकि शिशु के चूसने के बाद ही दूध नालिका अच्छी तरह से डेवलप हो पाता है।
  3. ब्रेस्ट सर्जरी –  कई महिलाएं सुंदर और अट्रैक्टिव दिखने के चाहत में ब्रेस्ट सर्जरी और निप्पल पियर्सिंग को ट्राई करती है, जिसकी वजह से ब्रेस्ट में फाइब्रॉएड बनने लगते है, जो दूध नालिका पर नेगेटिव इफ़ेक्ट डालते है।
  4. पीसीओएस या कोई गंभीर बीमारी – कई महिलाओं में पीसीओएस यानि पॉलिसिस्टिक ओवरी सिंड्रोम प्रॉब्लम होता है, जो पीरियड साथ-साथ ब्रैस्ट मिल्क को ठीक से बनने से रोकता है। वही यदि महिलाएं डायबीटीज, थायरॉयड जैसे गंभीर बीमारी के पेसेंट है, तब ब्रेस्टमिल्क अच्छे से बनना मुश्किल होता है।
  5. स्ट्रेस – सिंगल फैमिली की वजह से कई महिलाएं बच्चे का ठीक पालन नहीं कर पाने के बारे में सोचकर हमेशा चिंता में रहती है। इसके अलावा कई बार कोई फैमिली इशू या कई और कारणों से महिलाएं पूरी प्रेगनेंसी में भी स्ट्रेस लेती है, जिसका सीधा असर उनके बॉडी पर पड़ता है, जो ब्रेस्टमिल्क को भी इफ़ेक्ट करते है।
  6. प्रीमैच्योर डिलीवरी – प्रेगनेंसी के फर्स्ट ट्राइमेस्टर के बाद से ही दूध नलिका के बढ़ने और ब्रैस्टमिल्क बनने का प्रोसेस शुरू हो जाता है, जो पुरे नौ महीने में कम्पलीट होता है, ऐसे में यदि किसी भी वजह से बेबी का प्रीमैच्योर डिलीवरी हो जाये, तो दूध नलिका पूरी तरह से डेवलप नहीं हो पाता है। जिस वजह से ब्रेस्टमिल्क पंप नहीं कर पाता है।
  7. टाइट ब्रा – कई महिलाएं मॉर्डन लाइफस्टाइल के नाम पर प्रेगनेंसी में भी टाइट ब्रा का यूज़ करती है। जिससे ब्रेस्ट पर ज्यादा दबाव बनता है और दूध नालिका अच्छे से नहीं खुल पाता है, इससे ब्रेस्टमिल्क बाहर नहीं आ पाते है।
  8. डिलीवरी कॉम्प्लिकेशन – बहुत सी महिलाएं किसी ना किसी वजह से आसानी से बेबी कंसीव नहीं कर पाती है, जिसकी वजह से उन्हें आईवीएफ की मदद लेनी होती है या डिलीवरी के दौरान कई तरह कॉम्प्लिकेशन जैसे हाई ब्लीडिंग, पोस्ट शुगर, भ्रूण का सही विकास नहीं होना, प्लेसेंटा झिल्ली का पहले ही फट जाना आदि भी ब्रेस्ट से ब्रेस्टमिल्क के रिसाव को कम कर सकते है।

ब्रैस्टमिल्क को बढ़ाने के लिए क्या उपाय करें?

यदि आपके साथ भी कम ब्रेस्टमिल्क की प्रॉब्लम है, तो यहां हम कुछ घरेलु टिप्स बता रहे है, जिससे आप आसानी से ब्रेस्टमिल्क की क़्वान्टिटी को पहले से बेहतर कर सकते है :

  1. फीडिंग कराये – ब्रेस्टमिल्क कम हो, तब भी शुरुआत में शिशु को थोड़े-थोड़े समय में ही फीडिंग कराते रहे, बेबी के चूसने से दूध नलिका खुल जाते है, ब्रैस्टमिल्क का अच्छा फ्लो होने लगता है।
  2. दोनों ब्रेस्ट का यूज़ करें – ध्यान रहे, ज़ब भी आप फीडिंग करा रहे हो, अपने दोनों ब्रेस्ट के साथ फीडिंग कम्पलीट करें। इससे दोनों ब्रेस्ट में दूध के मात्रा बढ़ते है।
  3. ब्रेस्ट की मसाज करें – समय निकालकर अपने ब्रेस्ट को नारियल तेल या सरसो तेल से मसाज करें। मसाज करने से ब्रेस्ट के अंदर ब्लड सर्कुलेशन सही होता है, जिससे ब्रेस्टमिल्क सही तरीके बनने लगता है।
  4. हेल्दी फ़ूड ले – डिलीवरी के बाद बच्चे के हेल्थ को ध्यान में रखते हुए भरपूर नुट्रियेंट्स वाले भोजन का सेवन करें। अपने आहार में फाइबर वाले ओट्स, कैल्सियम, आयरन और फोलिक एसिड वाले पालक, एंटीऑक्सीडेंट एजेंट तुलसी को जरूर शामिल करें। इसके अलावा जीरे, मेथी, अजवाइन, लहसुन, सौंप आदि भी ब्रेस्ट मिल्क बढ़ाने में बहुत सहायक होते है।
  5. स्ट्रेस फ्री रहे – जैसा कि हमने आपको पहले भी बताया है, स्ट्रेस भी ब्रेस्टमिल्क के कम होने का एक मेन रीजन है, इसलिए इन दिनों आप पूरी तरह स्ट्रेस फ्री रहने की कोशिश करें।
  6. बिना सलाह मेडिसिन ना ले – ब्रेस्ट मिल्क को बढाने के लिए कोई भी मेडिसिन डॉक्टर के सलाह के बिना ना ले, इसके अलावा यदि आपको शुगर, थाइरॉयड जैसी कोई गंभीर प्रॉब्लम है, तो उन बीमारियों के दवा भी डॉक्टर के कंसल्ट से ही करें।

तो दोस्तों, आज के कुछ सीखें आर्टिकल में हमने आपको डिलीवरी के बाद ब्रैस्टमिल्क क्यों नहीं आते है? इसके बारे में डिटेल में जानकारी दी है, यदि अब भी आपको ब्रेस्टमिल्क से जुड़ी कोई और बात जाननी हो, तो कमेंट करें और इस यूजफुल आर्टिकल को अपनी फैमिली के साथ शेयर करें।

डिलीवरी के बाद पेट कैसे कम करें?

हेल्दी प्रेगनेंसी के लिए क्या करें?