न्यूरोप्लास्टिसिटी थेरेपी का मुख्य उद्देश्य ब्रेन के कार्य को अनुकूल करना होता है। इसमें ब्रेन के वैज्ञानिक समझ को बढ़ाने, किसी कार्य का आकलन करने और ब्रेन के न्यूरान्स को एक्साइटेड की प्रक्रिया शामिल होता है। ये कई मेडिकल प्रोसेस के माध्यम से किया जाता है। ब्रेन फंक्शन को क्रिएट करना, ब्रेन फंक्शन को रिस्टोर करना, ब्रेन फंक्शन को इंप्रूव करना और ब्रेन फंक्शन को मेंटेन करने की प्रक्रिया के कारण कोई भी व्यक्ति न्यूरोप्लास्टिसिटी थैरेपी का उपयोग कर सकता है।
एक बार ब्रेन के कार्य को सही करने के बाद, ये बिहेवियर, फीलिंग्स , नींद, आत्मविश्वास, ध्यान केंद्रित करने की क्षमता, याददास्त को बढ़ाने में मदद करते है। आज के कुछ सीखें आर्टिकल में हम आपको न्यूरोप्लास्टिसिटी थैरेपी कैसे करें? की जानकारी के साथ न्यूरोप्लास्टिसिटी बढ़ाने के लिए क्या खाएं? इसे बताने वाले है।
घर पर न्यूरोप्लास्टिसिटी थैरेपी के लिए क्या करें?
न्यूरोप्लास्टिसिटी थेरेपी का उपयोग सामान्य रूप से तब किया जाता है, जब ब्रेन की चोट, स्ट्रोक, हाइपोक्सिया आदि की समस्या होती है, जो ब्रेन के कार्य को इफ़ेक्ट करते है। न्यूरोप्लास्टिसिटी के द्वारा ब्रेन के कार्य में सुधार किया जाता है। आइये जानते है, घर पर रहके न्यूरोप्लास्टिसिटी थैरेपी लेने के लिए क्या करें:
1. पॉजिटिव थिंकिंग को अपनाएं-
यदि आप पॉजिटिव थिंकिंग को अपनाते है तो आप बहुत बेहतर कर सकते है। पॉजिटिव सोच के विश्वास से आप अपने अंदर बहुत बदलाव महसूस करते है। हालांकि सकारात्मक सोच अकेले ब्रेन के पूरी तरह ठीक नहीं कर सकती है, लेकिन जब इसे थेरेपी के साथ जोड़ा जाता है, तो न्यूरोप्लास्टिसिटी पॉजिटिव डायरेक्शन में चलकर जल्दी रिकवरी करता है।
2. एक सपोर्ट सिस्टम बनाएं –
ब्रेन में लगी चोट से आपको उबरने के लिए आपको परिवार और दोस्तों की ज़रूरत होगी , हालांकि ये जरूरी नहीं कि पूरे लोग आपके साथ हो, एक या दो लोगों के सपोर्ट से भी आपको बहुत फर्क पड़ता है।
3. सबसे पहले एडिक्शन पर ध्यान दें-
नशीली दवाओं या शराब जैसे एडिक्शन ब्रेन के न्यूरॉन्स को इफ़ेक्ट कर सकते हैं। जिसके कारण व्यक्ति मौजूदा स्थिति को भी समझ नहीं पाता है। कैफीन या नशीली चीज़ों का अधिक सेवन ब्रेन के इलाज को मुश्किल कर देता है।
4. पज़ल सॉल्व करें –
एक स्वस्थ और तेज ब्रेन के लिए अलग-अलग तरह के पजल को अपने खाली समय में सॉल्व करने की कोशिश करें। इससे ब्रेन के न्यूरॉन्स तेज गति से काम करने लगते हैं।
5. पर्याप्त नींद लें –
पर्याप्त आराम और नींद मिलने से आपका ब्रेन न्यूरॉन्स के कार्य को बदलने और ठीक होने के लिए तैयार हो जाता है।
6. एक्सरसाइज करें –
सामान्य तौर पर, कम से कम 20 मिनट के लिए हर वीक में 4 दिन एक्सरसाइज या नॉर्मली वाकिंग करें। इससे आपके ब्रेन सामान्य स्वास्थ्य को बढ़ावा देने के अलावा नए नर्वस सिस्टम को बनाने के लिए आवश्यक ऊर्जा प्रदान करती है।
7. बेहतर खाएं पियें – स्वस्थ खाद्य पदार्थों को अपने आहार में शामिल करें और अतिरिक्त चीनी को खाने से बचें। हेल्दी आहार आपके ब्रेन को फ्यूल देने का काम करता है, जो इफ़ेक्ट हुए न्यूरॉन्स को फिर से जोड़ने के लिए आवश्यक होता है।
8. ज्यादा स्ट्रेस ना लें – स्ट्रेस सीधा संबंध ब्रेन के न्यूरॉन्स से होता है। ज़ब जरूरत से ज्यादा स्ट्रेस लेते है, तब ये सभी न्यूरॉन्स प्रॉपर तरीके से काम नहीं करते है। इसलिए टेंशन या स्ट्रेस से खुद को दूर रखें।
9. कुछ नया सीखें – प्रति दिन कुछ नया सीखना या करना आपके ब्रेन को चुनौती देते हैं, जिसके कारण आपके ब्रेन में नमनीयता देखी जा सकती है।
न्यूरोप्लास्टिसिटी बढ़ाने के लिए क्या खाना चाहिए?
आपको तो पता ही है कि अच्छा खाना-पीना हेल्दी लाइफ का आधार है। यदि हम हेल्दी खान-पीन रखें तो, बीमारियां हमारे पास आएगी ही नहीं। हम ऐसा खाने का सोचते हैं, जो हमारे शरीर को हेल्दी रखे, लेकिन हम स्वस्थ दिमाग के बारे में सोच ही नहीं पाते हैं। दिमाग का पूरा काम न्यूरोप्लास्टिसिटी पर बेस होता है, इसलिए अब हम न्यूरोप्लास्टिसिटी को बढ़ाने के लिए क्या खाएं इस पर चर्चा करेंगें :
अनाज
साबुत अनाज जितना शरीर के लिए अच्छा होता है, उतने ही दिमाग़ के लिए भी अच्छा होता हैं। साबुत गेहूं, ब्राउन चावल में फोलेट नामक पोषक तत्व की उच्च मात्रा होती है, जो कि दिमाग को तेज कर याद रखने की क्षमता को बढ़ाते हैं। ओटमील, जवार, बाजरा आदि भी दिमाग के लिए अच्छा माना गया है, क्योंकि इनमें विटामिन बी6 व थियामिन होते है, जो मेमोरी बढ़ाने के लिए आवश्यक होते है।
चाय
अपनी सुबह की शुरुआत ग्रीन या ब्लैक टी से करें, क्योंकि इसमें कैटेचिन नामक तत्व होते हैं, जो कि दिमाग को स्ट्रांग करते हैं। इसलिए थकावट को दूर करने के लिए अक्सर लोग चाय का उपयोग करते हैं, लेकिन यदि ये ग्रीन टी और ब्लैक टी हो, तो आपके लिए काफी अच्छा होगा।
अण्डे
बढ़ती उम्र के साथ ब्रेन अट्रोफी नामक प्रक्रिया के कारण दिमाग भी धीरे-धीरे सिकुड़ने लगता है। जब दिमाग की कार्य करने की क्षमता धीमे होने लगती है, इस प्रक्रिया से बचने के लिए अण्डों का सेवन करना फायदेमंद माना गया है। अण्डे में विटामिन बी12 व लेसाथिन होता है, जो दिमाग को सिकुड़न से बचाता है और इसमें पाये जाने वाला कोलीन नामक तत्व दिमाग की नसों के ब्लाक को रिकवर करने में सहायक होते हैं।
बेरी
बेरी फैमिली के फल को दिमाग के ग्रोथ के लिए सर्वश्रेष्ठ माना जाता है। बेरी जैसे ब्लूबेरी, ब्लैकबेरी व रसबेरी आदि में एंटी आक्सीडेंट पाये जाते है, जो कि दिमाग को हमेशा जवां रखते है।
सूखे मेवे
सभी सूखे मेवे जैसे मूंगफली, काजू, बादाम, पिस्ता, किसमिस, खरबूज के बीज, तरबूज के बीज आदि दिमाग़ के लिए फायदेमंद होते है, क्योंकि सभी मेवों में ओमेगा 3, ओमेगा-6, फोलेट ,विटामिन ई व विटामिन बी-6 भरपूर मात्रा में होते है। इससे दिमाग के सभी न्यूरॉन्स अच्छे से काम करने लगते है, इससे आपको सोचने की ताकत मिलती है। ये दिमाग की सबसे बड़ी बीमारी डिप्रेशन को दूर करने में भी सहायक होते है।
हरी पत्तेदार सब्जियां
सभी पत्तेदार सब्जियां दिमागी विकास के लिए बहुत आवश्यक हैं, इससे भूलने की क्षमता में कमी देखी गईं है, क्योंकि सभी पत्तेदार सब्जियों में विटामिन बी6, बी 12, फोलेट, आयरन आदि होते है।
दही
दही को भी दिमाग के लिए अच्छा माना गया है, क्योंकि इसमें विटामिन व प्रोटीन अच्छी मात्रा में होता है और ये न्यूरॉन्स के बीच कम्यूनीकेशन को अच्छा करने में मदद करते हैं।
तो दोस्तों आज के इस आर्टिकल में हमने आपको न्यूरोप्लास्टिसिटी थेरेपी कैसे करें? के साथ न्यूरोप्लास्टिसिटी को बढ़ाने के लिए क्या खाएं?, इससे संबंधित जानकारी दी है। यदि आर्टिकल पसंद आया हो, तो कमेंट करें और शेयर करें।
सर्दियों में चलने के 5 स्वास्थ्य लाभ
0 Comments